ये जो तुम जो हर पल नखरे दिखाती हो
आती हो, जाती हो फिर मुझपे छाती हो
मैं तैयार नहीं रहता, हरपल चौंकाती हो
मैं सूखता भी नहीं फिर भींगो जाती हो
लोगों की टोली पे तुम जो कहर बरपाती हो
ये जो लम्बी लम्बी ट्रैफिक जाम लगाती हो
वीकेंड की हर बार, ऐसी की तैसी कर जाती हो
फिर भी तुम मुझको रास आती हो, बरसते रहो
………अभय………
Yes….बरसते रहो !!
All other miseries are man-made!!
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Indeed Ma’am..It’s all man made!
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Wah wah…
Baraste raho…
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Haha.. Shukriya 🙏
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Baraste raho. ♥️😁
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Thanks Moushmi for reading 😀
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जैसे भी हो बरसते रहो।
लोगो को आंखे पथरा जाती है
इंतजार में
कम से कम
तुम आई तो!
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हाँ भाई, I love rains
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कही पर आफत,कही पर इंतजार तेरा,
वाह रे बरखा रानी,ये कैसा है प्यार तेरा।
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Sahi ekdum 🙂
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Very nicely written with the impacts on real life.
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Thanks Jyotirmoy
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Yes it’s been raining so beautifully in Mumbai.
Well penned…!!
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Yeah…And I’m lovin it😀
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बहुत खूब 👌👌
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शुक्रिया रजनी जी🙏
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